बंगाल की खाड़ी में बन सकता है दबाव क्षेत्र, मानसून की चाल तेज, जल्द पहुंच सकता है भारत
May 16, 2025, 3:30 PM | Skymet Weather Team13 मई 2025 को दक्षिण अंडमान सागर पर दक्षिण-पश्चिम मानसून के आने के बाद से बंगाल की खाड़ी मौसम गतिविधियों का एक सक्रिय क्षेत्र बना हुआ है। मानसूनी धारा अब श्रीलंका के दक्षिणी सिरे तक पहुँच गई है और दक्षिण बंगाल की खाड़ी, पोर्ट ब्लेयर, लांग आइलैंड्स, मायाबंदर और उत्तर अंडमान सागर सहित पूरे द्वीप समूह को कवर कर चुकी है। अंडमान सागर और द्वीपों में मानसून की इस शुरुआती दस्तक के बाद से रुक-रुक कर बारिश हो रही है।

चक्रवातीय परिसंचरण से कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना
दक्षिण-पूर्व बंगाल की खाड़ी पर बना चक्रवातीय परिसंचरण कल दक्षिण-मध्य बंगाल की खाड़ी की ओर बढ़ेगा और उसके बाद दक्षिण-पश्चिम बंगाल की खाड़ी की ओर तमिलनाडु तट के पास पहुंचेगा। इस दौरान, दक्षिण-पश्चिम और दक्षिण-मध्य बंगाल की खाड़ी के आसपास कम दबाव का क्षेत्र (Low Pressure Area) बनने की संभावना है। इसके प्रभाव से मानसूनी धारा और आगे बढ़ेगी, जिससे श्रीलंका तक बारिश पहुंचेगी और तमिलनाडु के नज़दीक तक मानसूनी प्रभाव दिखाई देगा।
देश के भीतरी इलाकों में पहुंचेगी बारिश
यदि यह कम दबाव का क्षेत्र बनता है, तो यह दक्षिण प्रायद्वीपीय भारत में ज़मीन की ओर बढ़ेगा। इसके प्रभाव से भारी वर्षा का क्षेत्र तमिलनाडु के अंदरूनी हिस्सों, केरल के उत्तर-दक्षिण हिस्सों, तटीय और उत्तर कर्नाटक, गोवा, मध्य महाराष्ट्र और कोंकण क्षेत्र तक फैल जाएगा। मुंबई, उसके उपनगरों और दक्षिणी तटीय गुजरात में प्री-मानसून गरज-चमक के साथ बारिश की शुरुआत हो सकती है, जो मानसून जैसी ही प्रतीत होगी।
मानसून की प्रगति सामान्य से पहले हो सकती है
यह मौसमी प्रणाली किस दिशा में जाती है और इसका प्रभाव कितने बड़े क्षेत्र पर पड़ता है, इस पर नज़र बनाए रखना आवश्यक होगा। अगर बारिश की गतिविधियाँ इसी तरह व्यापक बनी रहीं, तो मुख्य भूमि (mainland India) पर मानसून की आमद अनुमानित समय से पहले हो सकती है। यह किसानों और मानसून पर निर्भर क्षेत्रों के लिए एक महत्वपूर्ण संकेत हो सकता है।