[Hindi] गुजरात में चक्रवाती तूफ़ान वायु का असर बरक़रार, जारी रहेगी भारी बारिश

June 14, 2019 5:48 PM|

Cyclone Vayu in Gujarat

आमतौर पर, मार्च से मई और अक्टूबर से दिसंबर के दौरान चक्रवात अपने चरम पर होती है। गुजरात ऐसा राज्य है जोमॉनसून के पहले भी और बाद में भी चक्रवात की चपेट मेंरहता है। जबकि, पिछले दशक में कोई ऐसा चक्रवात नहीं देखा गया है जो गुजरात पर सीधे प्रभाव डाला हो।

बता दें कि, मॉनसून के आगमन से पहले ही यानि प्री-मॉनसून सीजन में ही चक्रवात देखा जाता है। मॉनसून के सीजन के दौरान चक्रवात नहीं देखा जाता है।

पहले यह अनुमान लगाया गया था कि चक्रवात वायु गुजरात के भागों पर सीधे रूप से प्रभावित करेगा। अब तक, ज्यादातरचक्रवाती तूफान पश्चिम दिशा मेंओमान तट की ओर बढ़ रहे थे। इस प्रकार, यह कह सकते हैं कि, आज तक गुजरात में कोई भी चक्रवात नहीं आया है। वहां, चक्रवात के आने की चेतावनी कई बार दी गई है, लेकिन कोई चक्रवात लोगों को प्रभावित नहीं किया है। ऐसे ही इस बार भी अनुमान लगाया गया था कि चक्रवात वायु गुजरात के तट से टकराएगा। जबकि, यह सौराष्ट्र तट के करीब से गुजर गया।

इस समय चक्रवात वायु पोरबंदर से करीब 70 किमी की दुरी पर है और अभी भी अत्यंत भीषण रूप में है। आमतौर पर, कम तापमान के कारण चक्रवात कमजोर या ख़त्म हो जाते हैं। हालांकि, विशेषज्ञों के अनुसार, 70-80 किमी के करीब आने वाला यह तूफान अगले 24 घंटों के लिए एकगंभीर चक्रवाती तूफानके रूप में रहेगा। यह चक्रवात पश्चिम की ओर बह रहा है और तटीय भागों से दूर जा रहा है।

इस समय, चक्रवात वायु श्रेणी 2 में बना हुआ है और 24 घंटों के बाद यह एक गंभीर चक्रवाती तूफान के रूप में बना रहेगा।जिसके बाद, यह धीरे-धीरे श्रेणी 1 में आ जायेगा। अभी पोरबंदर से 70-80 किमी दूर में मौजूद यह चक्रवात द्वारका से 250 किमी पश्चिम दिशा की ओर बढ़ जायेगा।

मौसम विशेषज्ञों के अनुसार, यह तूफान अभी खत्म नहीं हुआ है। इसके बाद, एक सामान्य चक्रवात बनने के लिए इसकी ताकत और अधिक कम हो जाएगी। अगले 48 घंटे के बाद, इसके सौराष्ट्र के तटीय इलाकों के करीब आने की उम्मीद है और फिर उसके आगे आने वाले 24 घंटों में, तूफान और कमजोर हो जाएगा। इसके प्रभाव से 17 और 18 जून के आसपास सौराष्ट्र और कच्छ तट परबारिश होने की उम्मीदहै।

Also Read In English:Gujarat to receive more rains as the effect of Cyclone Vayu continues

चूंकि, चक्रवाती तूफान अभी ज्यादा दुरी पर शिफ्ट नहीं हुआ है। यह केवल 250-300 किमी की सीमा में रहेगा। इसके कारण यहां बारिश के साथ-साथ बादल छाए रहने की संभावना है। 16 जून तक सौराष्ट्र और कच्छ के तट के कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश जारी रहेगी। 17 जून की बात करें तो, चक्रवात एक बार फिर सौराष्ट्र के तट के करीब आ जाएगा और बारिश और तेज हो जाएगी। सौराष्ट्र के कच्छ, जामनगर, ओखा, द्वारका, पोरबंदर, खंभालिया, नलिया, मांडवी और भुज में बारिश में भारी गिरावट की उम्मीद है।

यहां तक ​​आतंरिक हिस्से जैसे कि, राजकोट, अमरेली और जूनागढ़ में हल्की बारिश होगी। अहमदाबाद में भी हल्की बारिश होने की संभावना है। हवाएं 30-40 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तेज होंगी, जो कि 17 जून को और बढ़ेंगी।

Image Credit: ET

कृपया ध्यान दें: स्काइमेट की वेबसाइट पर उपलब्ध किसी भी सूचना या लेख को प्रसारित या प्रकाशित करने पर साभार: skymetweather.com अवश्य लिखें ।

author image